न्यूज़ डेस्क खबर आर पार गाजीपुर ब्यूरो सिधागरघाट - सलामतपुर मार्ग की दयनीय स्थिति एवं जर्जर होने से आक्रोशित भीम आर्मी द्वारा बृहस्पतिवार ...
न्यूज़ डेस्क खबर आर पार
गाजीपुर ब्यूरो
सिधागरघाट - सलामतपुर मार्ग की दयनीय स्थिति एवं जर्जर होने से आक्रोशित भीम आर्मी द्वारा बृहस्पतिवार को सिधागरघाट त्रिमुहानी पर चक्का जाम कर नवनिर्माण की मांग कर रहे थे। चार घंटे तक चला यह जाम नायब तहसीलदार कासिमाबाद अनुराग यादव द्वारा आश्वासन देने के बाद समाप्त हुआ। इस जाम से रसड़ा-कासिमाबाद के साथ सलामतपुर-मऊ को जाने वाली छोटी बड़ी सभी गाड़ियां खड़ी रहीं। जिससे लोगों के आवा-गमन में काफ़ी असुविधा हुई।
जिले के उत्तरी छोर पर स्थित सिधागघाट-सलामतपुर मार्ग प्रमुख मार्गों में से एक है। इस मार्ग से बलिया जनपद के रसड़ा तहसील के साथ कासिमाबाद विकासखंड के उत्तरी छोर पर स्थित गांवों के लोग मऊ, बहादुरगंज के साथ अन्य जगहों के लिए आते जाते हैं। यह मार्ग पिछले 5 वर्षों से भी अधिक समय से टूटा हुआ है। इस मार्ग की लंबाई 9 किलोमीटर है। इतनी दूरी तय करने में चार पहिया वाहन को एक घंटे से भी अधिक समय लग रहा था। आसपास के ग्रामीण इस सड़क के दयनीय हालत से काफी दुखी हैं। यही कारण है कि भीम आर्मी इस मार्ग के दयनीय स्थिति को लेकर पहली बार चार सितंबर को सलामतपुर चट्टी पर मऊ-कासिमाबाद मार्ग को जमकर नव निर्माण का मांग किया था। इस जाम को उप जिलाधिकारी आशुतोष कुमार, पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों के साथ वार्ता कर 19 सितंबर तक स्थिति स्पष्ट करने का आश्वासन दिया था। यही कारण है कि 19 सितंबर तक पीडब्ल्यूडी एवं तहसील प्रशासन द्वारा कोई आश्वासन न मिलने पर चक्का जाम हुआ था। इस जाम को संबोधित करते हुए भीम आर्मी के जिलाध्यक्ष एडवोकेट मनोज गौतम ने कहा कि यह मार्ग पूरी तरह से गड्ढे में तब्दील हो गया है। लोगों को पैदल चलना भी मुश्किल है। आए दिन दुर्घटना हो रही है। इसके साथ बीमार मरीजों को समय से अस्पताल ले जाने में असुविधा हो रही है। बार-बार अधिकारियों को पत्रक देने के साथ मिलकर अवगत कराया गया लेकिन कोई कार्यवाही नहीं हुई। इस क्षेत्र के जनप्रतिनिधि भी कान और आंख में तेल डालकर सो गए हैं। जनता की समस्याओं को नजर अंदाज कर रहे हैं। इस जाम को दो बजे पहुंचे नायब तहसीलदार कासिमाबाद अनुराग यादव ने भीम आर्मी के कार्यकर्ताओं के साथ वार्ता कर बताया कि पीडब्ल्यूडी के अधिकारियों के साथ दो-तीन दिन के अंदर तहसील मुख्यालय पर उपजिलाधिकारी के साथ वार्ता होगी और कोई संतोष जनक हल निकलेगा। उसके बाद उनके आश्वासन पर जाम समाप्त कर दिया गया। इस चक्का जाम को भीम आर्मी के धीरेंद्र गौतम, राजेश बागी, प्रेमचंद गौतम, अश्वनी, श्री राम, संतोष सहित सैकड़ों लोग प्रमुख रूप से भाग लिया।
पिछले विधानसभा और लोकसभा चुनाव में सड़क की दुर्दशा को लेकर उठ चुकी है मांग
उत्तरप्रदेश के 2022 के विधानसभा चुनाव और 2024 में हुए लोकसभा चुनाव में जनता इस मार्ग को लेकर जनप्रतिनिधियों से निर्माण को लेकर मांग कर चुकी है । जनता इस सड़क को लेकर काफी दुखी है । लोगों का आना-जानामुश्किल है । पर किसी जनप्रतिनिधि ने इस पर ध्यान नहीं दिया । इस सड़क के निर्माण या घोषित ग्रामीणों ने चुनाव में बहिष्कार करने का भी निर्णय लिया था पर जातिगत मुद्दों के कारण ऐसा नहीं हो सका।
No comments